“मैं तेरी हीर” – 15
Main Teri Heer – 15
शिवम् ने प्रताप से अपनी दुश्मनी को खत्म कर दिया साथ ही प्रताप ने भी शिवम् से दुश्मनी खत्म करने में ही अपनी भलाई समझी क्योकि अब तक इन लड़ाई झगड़ो के चलते उसका काफी नुकसान हो चुका था। प्रताप के नौकर ने जब प्रताप को भूषण के बारे में बताया तो प्रताप ने भूषण को भी डांटकर भगा दिया। प्रताप ने दिल्ली में रहने वाले अपने बड़े भाई से बात की हमेशा हमेशा के लिए बनारस छोड़कर जाने की तैयारी करने लगा। राजन हॉस्पिटल में था और कोमा में था उसके होश में आने तक का सारा खर्चा शिवम् ने उठाने का फैसला किया। एक बड़ी समस्या हल हो चुकी थी मुन्ना पर भी किसी तरह का कोई मामला दर्ज नहीं हुआ। बीती रात हुए हादसे से काशी बुरी तरह घबरा गयी थी जिसकी वजह से उसे तेज बुखार आ गया था। शिवम् ने डॉक्टर को घर ही बुला लिया उन्होंने काशी को इंजेक्शन दिया और घरवालों से काशी का ख्याल रखने को कहा। सारिका रातभर काशी के साथ ही रही , नींद में डरकर काशी कभी कभी उस से चिपक जाती तो कभी घबराकर उठ बैठती। सारिका रातभर उसका सर सहलाती रही।
दो दिन इन्ही सब में निकल गए और धीरे धीरे सब नार्मल होने लगा। शिवम् मुरारी अपने काम में व्यस्त हो गए , सारिका काशी का ख्याल रखने के लिए घर पर ही रुक गयी ओल्डएज होम बाबा चले जाते थे। आई भी घर में सारिका की मदद कर दिया करती थी। वंश अपना आधा समय काशी के साथ बिताता तो बाकि घर से बाहर दोस्तों के साथ। प्रताप बनारस छोड़कर दिल्ली जा चुका था , राजन कोमा में था और उसे अभी तक होश नहीं आया था। मुन्ना अब पहले से ज्यादा शांत हो गया था , वह दिनभर या तो अपने कमरे में रहता या फिर घर की छत पर अकेले बैठा रहता। वह गौरी को जितना इग्नोर करने की कोशिश कर रहा था उसे उतनी ही तकलीफ हो रही थी। ना वह गौरी को भूल पा रहा था ना ही उसे सच बता पा रहा था। मुन्ना को देखकर अनु भी परेशान थी उसने मुन्ना से इस बारे में बात करने की कोशिश की लेकिन मुन्ना बिजी होने का बहाना बनाकर उसे कमरे से बाहर भेज देता। रातभर वह अपने लेपटॉप के सामने बैठकर कुछ ना कुछ काम करता रहता। उसे शक्ति के बारे में पता लगाना था लेकिन उसे कोई क्लू नहीं मिल पा रहा था। एक शाम मुन्ना लेपटॉप के सामने बैठा कुछ काम कर रहा था की तभी वंश उसके कमरे में आया और कहा,”क्या चल रहा है ये सब ?”
“कुछ भी नहीं”,मुन्ना ने अपने लेपटॉप की स्क्रीन की ओर देखते हुए कहा , वंश को ये नागवार गुजरा वह मुन्ना की तरफ आया और लेपटॉप की स्क्रीन बंद करते हुए कहा,”तू मुझे इग्नोर क्यों कर रहा है मुन्ना ? मैं जानना चाहता हूँ आखिर हुआ क्या है ?”
मुन्ना वंश की तरफ पलटा और कहा,”तुम्हे ऐसा क्यों लगा हम तुम्हे इग्नोर कर रहे है ? वंश हमारे पास और भी बहुत काम होते है जिनमे हमे पूरा कंस्ट्रेट करना पड़ता है ऐसे में हम कई बार अपने लिए वक्त नहीं निकाल पाते”
“क्या तुम इतना बिजी हो की तुम्हे ये तक याद नहीं आज हम दोनों का जन्मदिन है”,वंश ने उदास होकर कहा
मुन्ना को याद आया आज वंश और मुन्ना का बर्थडे ,, जबसे वंश ने मुन्ना के सामने गौरी को लेकर अपनी भावनाये व्यक्त की थी तबसे मुन्ना वंश से दूर रहने लगा था ऐसा नहीं था की वह वंश को इग्नोर कर रहा था या वंश और उसके बीच दूरिया आ गयी थी। वह वंश से बस सिर्फ इसलिए दूर रहने लगा था की कही वंश को उसके और गौरी के रिश्ते के बारे में पता ना चल जाए। मुन्ना को खामोश देखकर वंश उठा और कहा,”तुझे क्या हुआ है मुन्ना ? बोल ना मुझसे कोई गलती हुई क्या ? देख तू डाटना है तू डांट ले , गाली देनी है दे , पीटना है पीट ले लेकिन ऐसे खामोश मत रह यार,,,,,,,,,,,,तेरी ये ख़ामोशी मुझे चुभती है”
वंश को इमोशनल होते देखकर मुन्ना उठा और उसे गले लगाते हुए कहा,”आई ऍम सॉरी काम में उलझा होने की वजह से हम थोड़े परेशान हो गए थे इसलिए गुस्सा तुम पर निकाल दिया। जन्मदिन मुबारक हो बताओ क्या चाहिए तुम्हे ?”
वंश मुन्ना से दूर हटा और कहा,”तुम्हारा थोड़ा सा वक्त चाहिए , मिलेगा ?”
“बताओ कहा चलना है ?”,मुन्ना ने मुस्कुरा कर कहा
“ये हुई ना बात रुको आज तुम मेरी पसंद के कपडे पहनोगे,,,,,,,,,,,,,,,,,,,अम्म्मम्म ऐसा करते है आज सेम कपडे पहनते है , बर्थडे तो हम दोनों का है ना”,कहते हुए वंश मुन्ना के कमरे में बने कबर्ड की ओर आया और उसके लिए कपडे निकालने लगा। मुन्ना भी हाथ मुंह धोने बाथरूम की और चला गया। मुंह धोने के बाद मुन्ना ने शीशे में खुद को देखा इस एक हफ्ते में कितना बदल गया था वो। दाढ़ी फिर से बढ़ गयी थी। बाल भी थोड़े लम्बे होने लगे थे। वक्त पर ना सोने की वजह से आँखे थोड़ी सूज गयी थी और उनमे उदासी पसरी थी। मुन्ना मुस्कुराने की कोशिश की लेकिन उसने महसूस किया की उसे मुस्कुराते हुए तकलीफ हो रही थी। मुन्ना ने एक बार फिर अपना मुंह धोया और बाथरूम से बाहर चला आया। वंश ने उसके लिए कपडे निकालकर पहले ही रख दिए थे। जींस , सफेद टीशर्ट और डार्क सी ग्रीन जैकेट। आज वंश ने भी सेम ही कपडे पहन रखे थे इसलिए उसने मुन्ना के लिए भी वही कपडे निकाले और पहनकर आने को कहा। मुन्ना कपडे बदलकर आया इतने में वंश शीशे के सामने आकर थोड़ा सजने सवरने लगा। मुन्ना आया तो उसे देखकर वंश ने कहा,”अम्मम्म ऑल गुड लेकिन तूने ये दाढ़ी क्यों रखी है इसे भी ट्रिम कर देता न”
“हम ऐसे ठीक है”,मुन्ना ने कहा ताकि वह अपनी गंभीरता को उस दाढ़ी के पीछे छुपा सके।
“चलो ठीक है मैं तुम्हे फ़ोर्स नहीं करूंगा , वैसे इस लुक में भी तू काफी हॉट लग रहा है”,वंश ने कहा तो मुन्ना मुस्कुराया और शीशे के सामने आकर बाल बनाने लगा। बाल बनाते हुए मुन्ना को गौरी की कही बात याद आने लगी “वैसे ये दाढ़ी तुम पर सूट नहीं करती , पता है क्यों ? क्योकि इसके पीछे तुम्हारी क्यूटनेस छुप जाती है,,,,,,,,,,,वैसे एक रीजन और है , दाढ़ी में तुम कुछ ज्यादा ही हॉट लगते हो , और लड़कियों को बियर्ड वाले लड़के ज्यादा पसंद आते है,,,,,,,,,मैं नहीं चाहती लड़किया तुम्हे देखे”
गौरी की बात याद आते ही मुन्ना का दिल धड़कने लगा। वह एकटक शीशे में खुद को देखता रहा , वंश ने देखा तो कहा,”ए मुन्ना कहा खोये हो ? चलो ना देर हो जाएगी,,,,,,,,,,,,,,एक काम करो तुम तैयार होकर आओ मैं नीचे तुम्हारा वेट कर रहा हूँ”
“हम्म्म ठीक है”,मुन्ना ने कहा तो वंश वहा से चला गया। मुन्ना एक बार फिर शीशे में देखते हुए अपने बाल बनाने लगा , गौरी की कही बातें याद आने से उसका मन भारी होने लगा था और आँखों में नमी तैर गयी। मुन्ना ने नीचे चला आया। वंश नीचे खड़ा मुरारी और अनु से बातें करते हुए हंस रहा था मुन्ना को देखते ही वंश ने अपने हाथ में पहनी घडी दिखाते हुए कहा,”मुन्ना मुझे बर्थडे पर मुरारी चाचा से ये मिला , देखो कैसी है ?”
“अच्छी है”,कहते हुए मुन्ना अनु और मुरारी के पास आया और उनके पैर छुए तो अनु ने खुश होकर कहा,”हैप्पी बर्थडे मुन्ना , मेरा बेटा हमेशा खुश रहे और तुम्हारी लम्बी उम्र हो,,,,,,,,,,,,,,,,,,!!”
“थैंक्यू माँ”,मुन्ना ने मुस्कुरा कर कहा
“जे तुम्हरे लिए , वंश ने बताया की तुमरा फोन पानी में गिर कर खराब हो गया था तो हमने तुम्हरे जन्मदिन पर जे दुसरा खरीद दिया,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,इसमें गौरीशंकर के नंबर रखना ना भूलना”,आखरी शब्द मुरारी ने दबी आवाज में कहा
मुन्ना ने फोन ले लिया और जेब में रखते हुए कहा,”थैंक्यू पापा वो हम वंश के साथ बाहर जा रहे है , थोड़ा वक्त लग जाएगा”
“हाँ हाँ बिल्कुल जाओ कोई टेंशन वाली बात नहीं है,,,,,,,,,,,,,,,,,,,ये रखो और मजे करो”,मुरारी ने कुछ रूपये मुन्ना की जेब में रखते हुए कहा।
वंश और मुन्ना दोनों वहा से निकल गए। वंश ने बाइक स्टार्ट की और मुन्ना को पीछे बैठने को कहा। मुन्ना उसके पीछे आ बैठा और दोनों वहा से निकल गए शाम का वक्त था , बनारस की गलियों से होते हुए वंश और मुन्ना मेन सड़क पर चले आये। बनारस से दो किलोमीटर दूर एक जगह थी जहा वंश के दोस्तों ने मुन्ना और वंश की बर्थडे पार्टी रखी थी। वंश मुन्ना को लेकर वहा पहुंचा , दोस्तों ने पहले से ही सारा बंदोबस्त किया हुआ था जैसे ही वंश मुन्ना के साथ अंदर पहुंचा अंदर काफी अन्धेरा था। मुन्ना को थोड़ा अजीब लगा लेकिन अगले ही पल हवा में एक बेलून फटा और चारो और लगी रंग बिरंगी लाइट्स जल उठी। वंश के दोस्तों के साथ साथ वहा मुन्ना के कुछ कॉलेज फ्रेंड भी जमा थे। सबने एक साथ कहा,”हैप्पी बर्थडे”
मुन्ना ने देखा तो मुस्कुरा उठा वंश और मुन्ना दोनों अपने दोस्तों से मिले और फिर सभी केक काटने के लिए इक्क्ठा हो गए। मुन्ना और वंश ने साथ साथ एक ही चाकू से केक काटा और एक दूसरे को खिलाया। इसके बाद तो केक खाने खिलाने का सिलसिला शुरू हो गया। केक काटने के बाद तेज म्यूजिक बजने लगा। वंश जो की नाचने गाने का शौकीन था गाना बजते ही फ्लोर की तरफ चला गया और डांस करने लगा। सभी दोस्त उसके लिए हूटिंग कर रहे थे। मुन्ना एक तरफ हाथ बांधे खड़ा था और वंश को देख रहा था। वंश को हँसते मुस्कुराते देखकर मुन्ना के होंठो पर भी मुस्कान तैर गयी। डांस करते हुए वंश की नजर जब मुन्ना पर पड़ी तो वह उसकी तरफ आया और उसका हाथ पकड़कर उसे भी अपने साथ फ्लोर पर ले गया। वंश को मुन्ना भला कैसे मना करता इसलिए उसने भी थोड़ा डांस किया और नीचे चला आया। मुन्ना अपने दोस्तों की तरफ आकर उनसे बात करने लगा कुछ देर बाद वंश एक बियर की बोतल लेकर आया और सबको अपने इर्द गिर्द इकट्ठा कर लिया। उसने मुन्ना को भी बुला लिया और कहा,”मुन्ना आज तू मना नहीं करेगा बल्कि हम सबके साथ एक स्मॉल तू भी पियेगा,,,,,,,,,,,,,,आज अपना बर्थडे है यार”
“तू जानता है हम ये सब नहीं पीते लेकिन हाँ तुम्हे पीने से मना नहीं करेंगे”,मुन्ना ने वंश के बगल में आकर कहा
“अच्छा ठीक है एक सेल्फी तो ले ले”,कहते हुए वंश ने दूसरे हाथ से फोन निकाला और बोतल मुन्ना को पकड़ा दी। उसने अपने फोन का कैमरा ऑन किया और मुन्ना के साथ एक बहुत ही खूबसूरत सेल्फी ली। मुन्ना ने ध्यान नहीं दिया की उसके हाथ में बियर की बोतल थी और वो सेल्फी में भी आया है। उसने हाथ में पकड़ी बोतल टेबल पर रखी और वहा से साइड चला गया। वंश ने मुन्ना के साथ ली सेल्फी को एक बहुत ही प्यारे केप्शन के साथ तुरंत फेसबुक पर पोस्ट कर दिया और फिर अपने दोस्तों के साथ मिलकर पार्टी करने लगा।
इंदौर , मध्यप्रदेश
गौरी उदास सी अपने कमरे की खिड़की पर बैठी बाहर देख रही थी। मुन्ना को इंदौर से गए एक हफ्ता हो चुका था। इंदौर से जाने के बाद से ही मुन्ना गौरी को इग्नोर कर रहा था और ऐसा क्यों था इसकी वजह गौरी नहीं जानती थी। उसे अब भी लग रहा था की मुरारी की वजह से शायद मुन्ना उसे इग्नोर कर रहा हो , वह मन ही मन इस बात को लेकर बहुत परेशान थी। ना वह ठीक से खा पा रही थी , ना ही ठीक से सो पा रही थी। काशी से बात करने की कोशिश की लेकिन उसका फोन भी बंद आ रहा था। गौरी दिनभर अपने कमरे में ही रहती , ना उसका बाहर जाने का मन करता ना ही किसी से मिलने का,,,,,,,,,,,,,,,,,हर वक्त मुस्कुराने वाली गौरी के चेहरे पर अब उदासी दिखाई देने लगी थी। जब भी वह मुन्ना के बारे में सोचती उसका चेहरा उदासी से घिर जाता और आँखों में नमी उतर आती। खिड़की के पास बैठी गौरी ने अपने कमरे में लगे म्यूजिक सिस्टम को ऑन कर दिया। किसी इंग्लिश गाने की एक उदासीभरी धुन चलने लगी जिसने गौरी के दुःख को और बढ़ा दिया और आँखों में ठहरे आँसू गालो पर लुढ़क आये।
गौरी की आँखों के सामने मुन्ना के साथ बिताये खूबसूरत पल चलने लगे। गौरी मुन्ना के बारे में सोच ही रही थी की तभी उसके कमरे का दरवाजा खुला और उसकी दोस्त ऋतू प्रिया अंदर आयी। उन्हें देखते ही गौरी ने अपने आँसू पोछे और खिड़की से उतरकर उनकी ओर चली आयी।
“क्या हुआ है गौरी ? ना तुम हम लोगो का फोन उठा रही हो ना मैसेज का जवाब,,,,,,,,,,,,,,आखिर हुआ क्या है कुछ तो बताओ ?”,प्रिया ने बिस्तर पर बैठते हुए कहा
“मैंने भी कल शाम की पार्टी के लिए तुम्हे कितने कॉल्स किये लेकिन तुम्हारा कोई रिस्पॉन्स नहीं , फिर लगा कही तुम्हारी तबियत तो खराब नहीं हो गयी सोचकर हम लोग तुमसे मिलने चले आये”,ऋतू ने भी पास पड़ी कुर्सी पर बैठते हुए कहा
“मैं ठीक हूँ गाईज”,गौरी ने बुझे हुए स्वर में कहा
“ठीक हो तो फिर इतना लौ साउंड क्यों कर रही हो ? आंटी ने भी बताया की तुम कुछ दिनों से काफी अपसेट हो,,,,,,,,,,,,,,,,,,तुम्हारे और मुन्ना के बीच कुछ हुआ है क्या ?”,ऋतू ने पूछा
मुन्ना का नाम सुनते ही गौरी का चेहरा फिर उदासी से घिर गया जिसे देखकर प्रिया ने कहा,”मुझे पता ही था जरूर कुछ हुआ है तुम दोनों के बीच और तुम हमसे छुपा रही हो। क्या हुआ है गौरी बताओ ना क्या मुन्ना ने कुछ कहा तुमसे ? तुम दोनों के बीच सब ठीक तो है ना ?”
“कुछ ठीक नहीं है प्रिया जबसे मुन्ना यहाँ से गया है वो मेरे किसी मैसेज का जवाब नहीं दे रहा , ना ही किसी कॉल का और तो और कुछ दिन से उसका फोन भी बंद आ रहा है। पता नहीं वो ऐसा क्यों कर रहा है ? मैंने काशी से भी बात करने की कोशिश की लेकिन उसका फोन भी बंद आ रहा है। मुन्ना ने आज से पहले ऐसा कभी नहीं किया पता नहीं उसे क्या हुआ है ? आई हॉप वो ठीक हो”,गौरी ने ऋतू प्रिया सब बता दिया।
“ये तो बहुत अजीब बात है , मुन्ना ऐसा क्यों कर रहा है ? वो तो तुमसे प्यार करता है ना और उसने ये कहा भी उसके बाद भी तुम्हे इग्नोर करना,,,,,,,,,,,,,,,,,,,कुछ समझ नहीं आया ?”,प्रिया ने कहा
ऋतू पास बैठी अपने फोन का फीड बैक चेक कर रही थी तभी उसकी आँखे चमकी और चेहरे के भाव बदल गयी। उसकी आँखों के सामने एक तस्वीर आयी जिसे देखकर ऋतू ने कहा,”मुझे पता है मुन्ना तुम्हे इग्नोर क्यों कर रहा है ?”
ऋतू की बात सुनकर गौरी और प्रिया दोनों ने हैरानी से उसकी तरफ देखा तो ऋतू ने अपना फोन गौरी की तरफ बढाकर कहा,”तुम यहाँ मुन्ना के बारे में सोचकर परेशान हो रही हो और वहा मुन्ना पार्टी कर रहा है”
गौरी ने फोन लेकर देखा वंश और मुन्ना की तस्वीर थी जो की वंश ने कुछ देर पहले ही अपने फेसबुक अकाउंट पर शेयर की थी। उसे देखते ही गौरी के सीने में एक चुभन का अहसास हुआ। उसे लग रहा था मुन्ना किसी परेशानी में होगा इसलिए उस से बात नहीं कर पा रहा लेकिन मुन्ना तो यहाँ पार्टी कर रहा था , खुश था। गौरी ने फोन साइड में रख दिया और उदास आँखों से सामने दिवार को देखने लगी। उसने अपनी आँखों में भरे आँसुओ को रोकने की कोशिश की और ऐसा करते हुए उसने अपने होंठो को तीन चार बार चबाया। उसे बहुत बुरा लग रहा था साथ ही दुःख भी हो रहा था की मुन्ना अपने शहर में उसके बिना खुश है .प्रिया ने गौरी को परेशान देखा तो अपना हाथ उसके हाथ पर रखते हुए कहा,”गौरी हो सकता है तुम्हे लेकर मुन्ना को कोई मिसअंडरस्टेंडिंग हुई हो , वरना मुन्ना ऐसा नहीं है की वो तुम्हे इग्नोर करे”
“ओह्ह प्लीज प्रिया तुम तो रहने ही दो , इस फोटो में साफ दिख रहा है की गौरी के बिना मुन्ना कितना खुश है और उसे गौरी की कितनी परवाह है”
ऋतू की बात सुनकर प्रिया खामोश हो गयी। गौरी का मन भारी हो चुका था उसका किसी से बात करने का मन नहीं था इसलिए उसने ऋतू और प्रिया को वहा से जाने के लिए कहा। गौरी को परेशान देखकर ऋतू प्रिया वहा से चली गयी। उनके जाते ही गौरी रोने लगी। उसे कुछ समझ नहीं आ रहा था उसके साथ क्या हो रहा है। मुन्ना के लिए उसकी जो भावनाये थी वो महज आकर्षण नहीं थी बल्कि वह उस से जुड़ चुकी थी और उसे बहुत चाहती थी।
जय गौरी के कमरे के बाहर ही खड़ा था। दिन में 10 बार जय से लड़नेझगड़ने वाली गौरी पिछले एक हफ्ते से खामोश थी उसकी ख़ामोशी जय को भी खल रही थी। उसने धीरे से गौरी के कमरे का दरवाजा खोला और अंदर आया तो देखा गौरी रो रही है। जय को देखकर गौरी ने रोते हुए कहा,”लिव मी अलोन , जाओ यहाँ से मुझे किसी से बात नहीं करनी है”
जय ने पहली बार गौरी को ऐसे रोते देखा था वह उसके पास आया और कहा,”दी क्या ये मान की वजह से है ?”
जय के मुंह से मुन्ना का नाम सुनकर गौरी ने भीगी आँखों से जय को देखा और कहा,”जय मैंने कहा ना जाओ यहा से”
जय पर गौरी की बात का कोई असर नहीं हुआ , वह वही खड़ा हो गया और कहने लगा,”दी मैं उन से सिर्फ एक बार मिला हूँ लेकिन मैं ये कह सकता हूँ की वो बहुत सॉफ्ट हार्टेड है वो कभी किसी को हर्ट नहीं कर सकते और आपको तो बिल्कुल नहीं। मैं ये भी जानता हूँ की आप उन्हें बहुत पसंद करती हो और वो भी आपसे बहुत प्यार करते है इसलिए आप रोईए मत ,, ऐसा भी तो हो सकता है वो किसी प्रॉब्लम में हो और सिर्फ लोगो को दिखाने के लिए फेक स्माइल कर रहे हो ,,,,,,,,,,,,,,,दी इतनी जल्दी हम किसी को जज नहीं कर सकते”
“लेकिन अगर सच में मुन्ना मुझे भूल गया है तो,,,,,,,,,,!!”,गौरी ने सिसकते हुए कहा
“तो मैं उसे इतना मारूंगा की वो कभी तुम्हे हर्ट करने की सोचेगा भी नहीं”,जय ने कहा तो गौरी ने अपनी बाँहो को उसकी कमर से लगाकर अपना सर उसके पेट से लगा लिया और जय धीरे धीरे उसकी पीठ थपथपाने लगा।
To get daily notification subscribe my Telegram Channel “Sanjana Kirodiwal”
क्रमश- “मैं तेरी हीर” – 16
Read More – “मैं तेरी हीर” – 14
Follow Me On – facebook |instagram | youtube
संजना किरोड़ीवाल
Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15 Main Teri Heer – 15
Very sensitive story going on these days
So nice
Very beautiful please gauri wur munna ko alg na kre
Aaj kya kahe
Munaa aur gori ki trah hme bhi acha nhi lag rha
💓💖💓💖💖💖💖💖💖💖💖💖💓💓💓💖💖💖💓
Nice part…. 🌹🌹🌹🌹
Superb story
Very cute part gauri or jay k bich ki conversation ne limelight hi lut li part ki, sach to h bhai behen kitna bhi lade but uske piche unka chupa hua pyar kam nhi hota.
gauri nd munna unite kb honge mam ??
Sb jaldi se thk ho jaye
Pta hai hr samay khushiya hi nhi rhti pr fir bhi gori or Munna ko dekh kr dil me bahut dard ho rhi hai aapki hr kahani me aisa judav hota hai ki hum usme apna ashtitva dhundhte hai baki sb … mahadev ..
Ki echchha 🙏🙏
अब इनका मामला कब सेट होगा फिर से…गौरी उदास अच्छी नहीं लगती…मुन्ना बेवजह गौरी को इग्नोर कर रहा है…गलत बात है ये
Ye glt ho ra hy🥺
Nice part vansh k samne munna or gouri ka sach jaldi hi aa jaye to achha h.
Munna aur gauri ase udaas ache lagte
Pta nhi kb inki udaasi door hogi kaash woh din jldi hi aaye
Nice story
Ye ritu Priya se to jay smjhdar hh😬😬😬😬 gadhi khi ki…dono ki dono😡😡😡