मैं तेरी हीर – 44

Main Teri Heer – 44

Main Teri Heer by Sanjana Kirodiwal |
Main Teri Heer by Sanjana Kirodiwal |

Main Teri Heer – 44

काशी एकटक शक्ति के चेहरे की तरफ देखे जा रही थी। शक्ति ने काशी को देखा और दरवाजे की तरफ देखकर आवाज लगाई,”इंस्पेक्टर,,,,,,,,,,!!”
अगले ही पल इंस्पेक्टर कुछ कॉन्स्टेबल के साथ अंदर चला आया। शक्ति ने विश्वास की कॉलर पकड़ी और उसे इंस्पेक्टर की तरफ धकेलकर कहा,”अरेस्ट हिम,,,,,,!!”
“लेकिन मैंने किया क्या है ?”,विश्वास ने घबराकर कहा


“इसका जवाब हम तुम्हे पुलिस स्टेशन चलकर देंगे,,,,,,,,,,,ले चलो इसे।”,शक्ति ने कठोरता से कहा
इसंपेक्टर ने विश्वास को गिरफ्तार किया और उसे वहा से ले गए। विश्वास के जाने के बाद शक्ति काशी की तरफ पलटा और कहा,”काशी तुम्हे भी हमारे साथ पुलिस स्टेशन चलना होगा।”
“शक्ति,,,,,,,,,,,!!”,काशी ने हैरानी से अपनी आँखों को बड़ा कर शक्ति को देखते हुए कहा


“हमे माफ़ करना काशी लेकिन हमे ये करना पडेगा , ये जो कुछ हो रहा है वो कही ना कही तुम से जुड़ा है। तुम्हारा वहा होना जरुरी है।”,शक्ति ने काशी की बांहो को थामकर उसकी आँखों में देखते हुए कहा
“अगर तुम्हे ये लगता है ये सब हमारी वजह से हुआ है तो हम तैयार है।”,काशी ने तकलीफ भरे स्वर में कहा और अपने हाथो को आगे कर दिया जिस से शक्ति उसे गिरफ्तार कर सके।


“काशी हमारा ये मतलब,,,,,,,,,,,,,,,,!!”,शक्ति आगे कहते इस से पहले ही काशी ने अपना हाथ आगे कर शक्ति को रोक दिया और चलने को कहा।
शक्ति ने कुछ नहीं कहा वह समझ गया काशी इस वक्त उसे गलत समझ रही है। शक्ति काशी को लेकर जैसे ही जाने लगा अम्बिका जी उसके पास आयी और कहा,”शक्ति ,बेटा ये सब क्या है ? काशी के नानाजी भी घर में नहीं है ऐसे में काशी को इस तरह से लेकर जाना,,,,,,,!!”


“आप हम पर भरोसा करती है ना ?”,शक्ति ने अम्बिका की आँखों में देखते हुए कहा
“हम्म्म !”,अम्बिका ने नम आँखों से शक्ति को देखते हुए कहा
“तो हम ऐसा कुछ नहीं करेंगे जिस से हमे आपके और नानाजी के सामने शर्मिन्दा होने की जरूरत पड़े। हम काशी को लेकर जा रहे है और हम ही उसे सही सलामत वापस लेकर आएंगे। काशी से पहले हर मुसीबत को हम से होकर गुजरना पडेगा।”


अम्बिका ने शक्ति की बात का भरोसा किया और उसे जाने की परमिशन दे दी। शक्ति काशी को लेकर घर से बाहर आया और फिर उसे लेकर सीधा पुलिस स्टेशन चला आया।  काशी को देखकर सभी हैरान थे। शक्ति काशी को लेकर इन्वेस्टिगेशन रूम में आया। काशी ने देखा इन्वेस्टिगेशन रूम में पहले से 3 लड़के और 2 इंस्पेकटर मौजूद थे।

काशी ने देखा वहा विश्वास , राज और अनजान लड़का था जिसे काशी ने पहली बार देखा था। शक्ति ने काशी से बैठने को कहा और दोनों इंस्पेक्टर से बाहर जाने को कहा। काशी , विश्वास , राज और विजय चारो टेबल के इर्द गिर्द आमने सामने बैठे थे। काशी अंदर ही अंदर बहुत घबराई हुई थी उसने कभी सोचा नहीं था ऐसा पल भी आएगा जब उसका ही प्यार उसे कानून के सामने ला खड़ा करेगा। चारो खामोश बैठे एक दूसरे को देख रहे थे।

शक्ति ने एक राउंड मारा और कहा,”हम कुछ कहे उस से पहले हम ये बता दे कि आप चारो को यहाँ किसलिये बुलाया गया है ?”
शक्ति की बात सुनकर सब उसकी ओर देखने लगे सिवाय काशी के,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,वह शक्ति की तरफ देख ही नहीं पा रही थी जिन बातो को काशी ने शक्ति से छुपाया था उसके बाद वह खुद शर्मिन्दा महसूस कर रही थी।
शक्ति ने एक नजर काशी की तरफ देखा और कहने लगा,”कुछ दिन पहले हम अपने घर के लॉन में थे अपने कुछ दोस्त और अपनी मंगेतर यानि काशी के साथ ,

उस वक्त किसी ने हम पर गोली चलाई लेकिन हम बच गए। हम थोड़ा उलझन में थे कि वो गोली आखिर चली किस पर क्योकि इस शहर में हमारा ऐसा कोई दुश्मन नहीं है जो छुपकर हम पर वार करे। हमने गोली चलाने वाले का पीछा किया लेकिन वो हमारे हाथ नहीं आया। हमारे हाथ लगा ये आई.डी. कार्ड,,,,,,,,,,,,,,!”
कहकर शक्ति ने वो आई.डी. कार्ड टेबल के बीचोंबीच रख दिया जो कि “विश्वास गर्ग” का था।

विश्वास ने जैसे ही अपना आई.डी. कार्ड देखा वह घबरा गया और  कहा,”मैंने तुम पर गोली नहीं चलाई,,,,,,,,!!”
“हम जानते है तुमने गोली नहीं चलाई लेकिन जिस ने ये गोली चलाई है उसने बहुत ही होशियारी से ये सब शक तुम पर डाल दिया।”,शक्ति ने विजय की तरफ देखते हुए कहा तो विजय घबराकर इधर उधर देखने लगा। शक्ति घूमकर विजय की तरफ आया और कहा,”क्यों विजय मेरी गन तुम्हारे पास कैसे आयी ?”


“गन ? क क कोनसी गन ? मैं किसी गन के बारे में नहीं जानता,,,,,,,,,,,,,,!!”,विजय ने घबराकर कहा
शक्ति ने अपनी गन निकालकर टेबल पर रखते हुए कहा,”पुलिस डिपार्टमेंट में हमारे केबिन में आने की परमिशन किसी को नहीं है सिवाय डिपार्मेंट के लोगो के अलावा फिर ये गन तुम्हारे पास कैसे आयी ? क्योकि ये वही गन है जिस से हम पर गोली चलाई गयी थी। अब सच तुम बताओगे या हम बताये ?”


“मैं सब बताता हूँ , मुझे ड्रिंक और ड्रग्स के लिए पैसे चाहिए थे और राज ने मुझे पैसे दिए लेकिन बदले में इसने मुझे एक गन का इंतजाम करने को कहा,,,,,,,,,,,,,पापा आपके साथ काम करते है आपके केबिन में जाने की परमिशन सिर्फ उनके पास थी और इसी का फायदा उठाकर मैंने वो चुरा कर राज को दे दी मुझे नहीं पता था इसे गन क्यों चाहिए थी ? मैंने किसी पर गोली नहीं चलाई है मुझे जाने दीजिये,,,,,,,,,,,,,,!!”


काशी ने सूना तो उसका सर चकराने लगा ये सब क्या हो रह था ? शक्ति ने राज की तरफ देखा तो राज कहने लगा,”कॉलेज के पहले साल से मैं काशी को बहुत पसंद करता था लेकिन काशी ने कभी मुझे भाव नहीं दिया वही ये विश्वास उसका क्लासमेट था और हर वक्त काशी के आस पास मंडराता रहता था।  मैं काशी को पंसद जरूर करता था लेकिन मैंने कभी उसे जबरदस्ती पाने की कोशिश नहीं की।

एक बार विश्वास और मेरे बीच किसी बात को लेकर झगड़ा हुआ था लेकिन इस ने उस झगडे में काशी को शामिल किया और मुझे उसकी नजरो में गिरा दिया। उसी दिन से मैं इस से नफरत करने लगा और,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,!!”
राज आगे कहता इस से पहले शक्ति ने कहा,”और इस से बदला लेने के लिये तुमने हम पर गोली चलाई और इसे फंसा दिया,,,,,,,,,,ताकि तुम्हारा बदला भी पूरा हो जाये और हम काशी की जिंदगी से निकल जाये जिस से तुम्हारा रास्ता साफ हो जाये और काशी तुम्हे मिल जाये,,,,,,,,,,,,राइट।”


“नहीं सर ये सब झूठ है , जिस दिन हमे पता चला काशी की सगाई हो चुकी है उसी दिन से मैंने काशी से दुरी बना ली , इन्फेक्ट उस झगडे के बाद तो मैं काशी से कभी मिला ही नहीं। ये सब इस विश्वास ने किया है और अब ये मुझे फ़साना चाहता है। मैंने आप पर गोली नहीं चलाई सर,,,,,,,,,,,,,,,,,,,!!”,राज ने डरे हुए स्वर में कहा


शक्ति कुछ देर तक राज को देखते रहा और फिर एकदम से काशी की तरफ पलटकर कहा,”हाँ तो मिस काशी क्या आप बताएंगी आपने हम से झूठ क्यों कहा कि आप किसी विश्वास गर्ग को नहीं जानती है जबकि विश्वास तो आपको बहुत अच्छे से जानता है।”
काशी ने शक्ति की ओर देखा उसकी आँखों में नमी तैर गयी लेकिन इस वक्त शक्ति ने खुद को मजबूत रखा और कहा,”हम आपसे कुछ पूछ रहे है काशी जवाब दो।”


“हमने झूठ कहा था।”,काशी ने अपना दिल मजबूत करके कहा
“क्यों ?”,शक्ति ने उसी अंदाज में फिर पूछा
“क्योकि हम नहीं चाहते थे तुम हमारे पास्ट के बारे में जानो , कॉलेज में हमे लेकर पहले ही इन दोनों के बीच बहुत झगडे हो चुके थे। हम कॉलेज जाने से भी डरते थे , हमे लगने लगा था जैसे हम इंसान ना होकर कोई सामान है जिसे हर कोई अपनी ख़ुशी के लिये पाना चाहता था।

हम नहीं चाहते थे शक्ति कि तुम्हे ये सब पता चले और तुम हमे जज करो,,,,,,,,,,,,,,,,,एक बार तुम्हे खो चुके है शक्ति , फिर से नहीं खोना चाहते थे सिर्फ इसलिये हमने तुम से ये सब छुपाया लेकिन हमे नहीं पता था हमारा अतीत ही तुम्हारी जान का दुश्मन बन जाएगा। हमे माफ़ कर दो शक्ति , हमे माफ़ कर दो,,,,,!!”,कहते हुए काशी रो पड़ी शक्ति का दिल किया

अभी जाकर काशी को सीने से लगा ले लेकिन शक्ति इस वक्त ड्यूटी पर था इसलिए उसने काशी की तरफ अपना रुमाल बढ़ा दिया और कहा,”अपने आँसू पोछ लो , इन सब में तुम्हारी गलती बस इतनी है कि तुमने सच छुपाया काशी बाकि अगर गोली तुम तीनो ने नहीं चलाई है किसने चलाई होगी ?”
शक्ति इतना कहकर खामोश हो गया लेकिन वहा बैठे तीनो लड़को को उलझन में डाल दिया और तीनो एक दूसरे पर इल्जाम लगाने लगे  

“कहते क्यों नहीं गोली तुमने चलाई है , तुम मुझसे बदला लेना चाहते थे तुमने गोली चलाई और मुझे फंसा दिया ताकि मैं जेल चला जाऊ।”,विश्वास ने राज से कहा
“मेरी सोच इतनी घटिया नहीं है जिसे चाहता था उस पर गोली कैसे चला सकता हूँ मै,,,,,,,,,,,,,ये सब तुमने किया है और अब मुझे फंसा रहे हो। तुम्हारी काशी पर बुरी नजर थी और तुमने ही उसे पाने के लिये ये सब जाल बुना,,,,,,,!!”,राज ने दाँत पीसते हुए कहा


“अच्छा अगर ये सच तो फिर उस गन का क्या जो तुमने विजय से मंगवाई थी , गोली तो उसी गन से चली थी ना,,,,,,,,,,,!!”,विश्वास ने कहा
“गोली किसने चलाई क्यों चलाई इन सब का मुझ से क्या कनेक्शन है , मुझे अरेस्ट क्यों किया है ?”,तभी विजय ने गुस्से से कहा
शक्ति ने सूना तो उसने खींचकर एक थप्पड़ विजय को मारा और कहा,”एक पुलिस अफसर की गन चुराना भी कानूनन अपराध है।

तुम्हारी एक गलती की वजह से तुम्हारा पूरा कॅरियर बर्बाद हो सकता है इसका अंदाजा भी है तुम्हे,,,,,,,,,,,,,,,,,नाउ शट योर माउथ एंड कीप साइलेंस”
शक्ति को गुस्से में देखकर विजय सहम गया और उसके बाद उसने कुछ नहीं कहा। विश्वास और राज को बहस करते देखकर शक्ति ने कहा,”हम जानते है गोली किसने चलाई ?”
शक्ति की बात सुनकर दोनों उसकी ओर देखने लगे साथ ही साथ काशी भी हैरानी से शक्ति को देखने लगी।


“विश्वास तुमने गोली नहीं चलाई लेकिन गोली राज ने भी नहीं चलाई , राज ने विजय से जो गन मांगी थी वो गन राज को मिली ही नहीं,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,!!”,शक्ति ने रहस्य्मयी तरीके से कहा तो सब हैरानी से एक दूसरे की तरफ देखने लगे।
शक्ति ने दरवाजे की तरफ देखा और जोर से कहा,”इन्स्पेक्टर,,,,,,,,,,,,,,,!!”
अगले ही पल दरवाजा खुला और इंस्पेकटर अंदर आया उसके पीछे पीछे एक लेडी इंस्पेक्टर एक लड़की का हाथ पकडे अंदर आयी जिसे देखकर सभी उलझन में पड़ गए।

शक्ति ने लड़की की तरफ देखा और कहा,”इसे तो आप सब जानते ही होंगे।”
“ये तो सुमन है लेकिन इसका इस इन्वेस्टिगेशन से क्या लेना देना ?”,विश्वास ने कहा
“क्या सुमन भी इसका हिस्सा है ?”,राज ने हैरानी से पूछा
विजय ने सुमन को देखा तो कहा,”ये तो वही लड़की है जिसने खुद को राज की गर्लफ्रेंड बताकर मुझ से गन ली थी।”,


विजय की बात सुनकर राज हैरानी से सुमन को देखने लगा क्योकि उसने तो कॉलेज में कभी सुमन से बात तक नहीं की थी। शक्ति ने सबको उलझन में देखा तो कहा,”रिलेक्स बॉयज,,,,,,,सच क्या है अब ये आप सबको मिस सुमन बताएंगी”
शक्ति की बात सुनकर सुमन कुछ देर खामोश रही और फिर कहने लगी,”कॉलेज के आधे से ज्यादा लड़के काशी से दोस्ती करना चाहते थे विश्वास भी उनमे से ही एक था। मैं विश्वास को पसंद करती थी लेकिन इसके होंठो पर हमेशा काशी का ही जिक्र रहता था।

मुझे काशी से चिढ होने लगी और ये चिढ धीरे धीरे नफरत में बदल गयी। विश्वास का प्यार काशी के लिये बढ़ता ही जा रहा था और काशी के लिये मेरी नफरत भी। मैंने विश्वास से दोस्ती बढ़ा ली ताकि मुझे उसके और काशी के बारे में सब पता रहे। कॉलेज के आखरी साल में विश्वास ने कहा वह काशी को शादी के लिये प्रपोज करेगा लेकिन उस से पहले ही उसका राज के साथ कोई झगड़ा हुआ और मैंने मौका देखकर उस झगडे में काशी को बदनाम कर दिया जिस के बाद काशी ने कॉलेज छोड़ दिया।

मुझे लगा काशी के जाने के बाद विश्वास उसे भूल जाएगा लेकिन विश्वास उसके पीछे पागल था उसने कॉलेज के बाद भी काशी का पीछा नहीं छोड़ा तो मैंने काशी को ही रास्ते से हटाने का सोच लिया,,,,,,,,,,,,,,,,,,मैंने राज और विश्वास के झगडे का फायदा उठाकर विश्वास को अपने घर रहने के लिये मना लिया। विजय जो गन राज को देने वाला था वो मैंने उस से ले ली और काशी पर गोली चला दी लेकिन निशाना चूक जाने की वजह से वो बच गयी।


शक्ति ने मेरा पीछा भी किया लेकिन गलती से उस दिन मुझसे विश्वास का आई डी कार्ड गिर गया और अगले दिन शक्ति को कॉलेज में देखकर मुझे यकीन हो गया कि इसे विश्वास पर शक हो गया है। मैंने शक्ति को काफी उलझाने की कोशिश की और उसे यकीन दिलाया कि गोली चलाने वाला विश्वास नहीं बल्कि कोई और है और इसके लिये मैंने कभी शक्ति को धमकीभरा लेटर लिखा तो कभी शक्ति का पीछा किया

लेकिन,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,जब शक्ति ने कहा कि विश्वास इनकाउंटर में मारा जाएगा तब मैं घबरा गयी मुझे इन सब में किसी और को फ़साना था और,,,,,,,,,,,,,,!!”
सुमन आगे कहती इस से पहले शक्ति ने कहा,”और तुम्हे लगा राज से बेहतर लड़का और कौन हो सकता है ? पर तुम भूल गयी कि तुम जिस के साथ खेलने की कोशिश कर रही थी उसने ऐसे खेल बहुत खेले है। इंस्पेक्टर गिरफ्तार कर लो इसे ,,,,,,,,,,,,,,,,!!”


“मुझे माफ़ कर दीजिये सर , ये सब मैंने बस अपना प्यार पाने के लिये किया,,,,,,,,,,,,,,,,,,,काशी को रास्ते से हटाकर मैं बस विश्वास को पाना चाहती थी। मुझसे गलती हो गयी सर,,,,,,,,,,,,,,,,,,!!”,सुमन रोते हुए गिड़गिड़ाने लगी तो शक्ति उसके पास आया और कहा,”अपना प्यार पाने के लिये तुमने हमारे प्यार की जान को खतरे में डाल दिया। किसी को पाने के लिये किसी की जान लेना प्यार नहीं है सुमन ये सिर्फ और सिर्फ एक पागलपन है,,,,,,,,,,,,,,तुम्हारे इस पागलपन में 3 बेकसूर लोगो की जिंदगी बर्बाद होते होते बची है,,,,,,,,,,,,,,,,,,मैडम ले जाईये इन्हे यहाँ से,,,,,,,,,,,,,,,,,!!”

लेडी इंस्पेक्टर सुमन को वहा से लेकर चली गयी। तीनो लड़को ने चैन की साँस ली और विश्वास ने उठते हुए कहा,”सच तुम्हारे सामने आ चुका है तुम पर गोली सुमन ने चलाई , क्या अब मैं जा सकता हूँ ?”
शक्ति ने अपना माथा खुजाया और खींचकर एक थप्पड़ विश्वास को मारते हुए कहा,”हम पर तुमने गोली नहीं चलाई लेकिन काशी के घर में घुसकर उसके साथ जो जबरदस्ती करने की तुमने कोशिश की है उसके लिये हम तुम्हे गिरफ्तार करते है। इसंपेक्टर गिरफ्तार करो इन तीनो को हवालात में डाल दो,,,,,,,,,,,,,कानून को बहुत हल्के में ले लिया है इन लोगो ने,,,,,,,,,!!”

तीनो लड़के शक्ति से छोड़ने की रिक्वेस्ट करते रहे लेकिन शक्ति ने उन पर ध्यान नहीं दिया और काशी के पास चला आया। काशी डरी सहमी सी एक कोने में खड़ी थी। शक्ति उसके पास आया और उसका चेहरा अपने हाथो में थामकर कहा,”हमे माफ़ कर दो काशी ये सब करना जरुरी था। इसके लिये तुम हमे जो सजा दो हमे मंजूर है।”
काशी ने कुछ नहीं कहा बस रोते हुए शक्ति के सीने से आ लगी।

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संजना किरोड़ीवाल  

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