Sanjana Kirodiwal

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Love You जिंदगी – 23

Love you Zindagi
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Love You Zindagi – 23

नैना वापस अपने केबिन में चली आयी और काम में लग गयी ! कुछ देर बाद फोन पर उसकी मम्मी का मेसेज आया और जिसमे सुमि आंटी का एड्रेस था ! नैना समझ गयी की अब तो उसे उनके घर जाना ही पड़ेगा संडे के बारे में सोचकर उसने ओके लिखकर भेज दिया ! रुचिका को किसी सोच में डूबा देखकर शीतल ने उसके कंधे पर हाथ रखा तो रुचिका ऐसे चौंकी जैसे नींद से जागी हो ! शीतल ने देखा तो कहा,”तुम ठीक हो रूचि ?”
“है हां हां , मैं आती हूँ !”,कहते हुए रूचि उठी और बाथरूम चली गयी ! बाथरूम में आकर रुचिका ने खुद को देखा तो रो पड़ी ! उसकी आँखों से आंसू बहने लगे कोई उसे सुन ना ले सोचकर उसने अपने दोनों हाथ अपने मुंह पर रख लिए ! उसका दिल टूटा था और इसका उसे बहुत गहरा सदमा पहुंचा था ! सचिन को वो बहुत चाहती थी लेकिन सचिन उसके बारे में ये सब सोचता है जानकर रुचिका दुःख में डूब गयी ! वह तब तक दबी आवाज में रोती रही जब तक उसका मन हल्का नहीं हो गया ! उसने मुंह धोया और खुद को ,नार्मल करके जैसे ही बाहर आयी सामने नैना मिल गयी नैना ने कुछ नहीं कहा बस रुचिका की आँखे समझकर उसे समझ आ गया की रुचिका उस से बहुत कुछ छुपा रही है ! रुचिका नजर बचाकर वहा से चली गयी ! कुछ देर बाद नैना जैसे ही बाथरूम से बाहर आयी उसने देखा मैनेजर ने ऑफिस सर पर उठा रखा है ! फायनेंस डिपार्टमेंट की कुछ फाइलों में हिसाब गड़बड़ था और वह बुरी तरह सबके सामने सचिन पर चिल्ला रहा था ! सचिन इस अचानक आयी मुसीबत से बुरी तरह घबरा गया और कहा,”सर इस बार इन सब फाइल्स का काम रुचिका ने किया था , वही जानती है की उसने क्या मिस्टेक की ?”
रुचिका का नाम सुनते ही पूरा स्टाफ रुचिका की और देखने लगा ! ऑफिस में आये अभी एक महीना भी नहीं हुआ था और रुचिका पर ये इल्जाम लग गया उसने अपनी नौकरी खतरे में नजर आ रही थी ! मैनेजर ने रुचिका को आगे बुलाया और फाइल्स की मिस्टेक के बारे में पूछा तो रुचिका ख़ामोशी से सचिन की तरफ देखने लगी क्योकि उसने सचिन के कहने पर ही फाइल्स क्लियर की थी जबकि एक बार भी ये नहीं पूछा की ये किस चीज से रिलेटेड है ! रुचिका को खामोश देखकर मैनेजर भड़क गया और कहा,”लिस्टन मिस रुचिका 2 दिन का टाइम है तुम्हारे पास मंडे को मुझे इन फाइल्स की पूरी जानकारी चाहिए वरना अपना रेजिग्नेशन लेटर तैयार रखना !”
“और तुम सब खड़े होकर तमाशा क्या देख रहे हो ? जाओ जाकर अपना अपना काम करो !”,मैनेजर ने बाकि सबसे गुस्से से कहा और वहा से चला गया ! सचिन भी अपने केबिन की और चला गया ! रुचिका एक के बाद एक नई मुसीबत में फंसती चली जा रही थी , बिना सोचे समझे किसी पर भरोसा करने का ये अंजाम हुआ के एक महीने में ही उसकी नौकरी जाने की नौबत आ गयी !
रुचिका ने सचिन से बात करने के बारे में सोचा और उसके केबिन में चली आयी ! रुचिका को वहा देखकर सचिन ने बाकि स्टाफ को बाहर जाने का इशारा किया ! उनके जाते ही रुचिका ने सचिन से कहा,”ये सब क्या है सचिन ? तुम्हारे कहने पर मैंने तुम्हारी फाइल्स पर काम किया था उनमे क्या था मुझे कुछ नहीं पता , गलती तुमने की और नौकरी छोड़ने के लिए मुझे कहा जा रहा है ,, ऐसा क्यों ?”
सचिन इधर उधर देखता रहा तो रुचिका उसके पास आयी और उसकी कोलर दोनों हाथो से पकड़ते हुए कहा,”तुम मेरे साथ कोनसा गेम खेल रहे हो ? क्या हो रहा है ये सब बताओ मुझे ? फाइल्स में हेर फेर किसने किया ?”
“मैंने किया है !”,सचिन ने उसके हाथो को झटककर पीछे होते हुए कहा !
रुचिका ने सूना तो हैरानी से उसकी और देखने लगी ! सचिन ने रुचिका की और देखा और कहने लगा,”25000 हजार महीने की नौकरी में कितना कमा लेता ,मैं , मुझे कुछ बड़ा करना था इसलिए मैंने तुम्हे वो काम सौंपा , तुम्हे लगा वो सिर्फ डाटा एंट्री है और तुम ऑफिस वर्क कर रही हो , वो एक सोची समझी चाल थी तुम्हारे कम्प्यूटर की आई डी से वो सब डाटा उसके पास गए जिसने मुझे 2 लाख रूपये दिए ! काम तुमने किया और फायदा मुझे हुआ , मैं फंसत्ता भी नहीं लेकिन कही से मैनेजर के हाथ वो लास्ट फाइल लग गयी जो कल शाम मैं तुम्हे देने वाला था ! उसमे इम्पोर्टेन्ट डिटेल्स थी और उस से मुझे पुरे 5 लाख का फायदा होने वाला था लेकिन तुमने और उस मैनेजर ने मिलकर सब ख़राब कर दिया ! अब जवाब तुम देना मैनेजर को की तुम्हारे पासवर्ड से ये डिटेल्स बाहर कैसे गयी ?”
रुचिका ने सूना तो उसके पैरो के निचे से जमीन खिसक गयी ! सचिन ने उसके साथ इतना बड़ा धोखा किया जानकर वह अवाक् थी ! उसने कांपते होंठो से कहा,”इसका मतलब तुमने मुझे यूज किया ?”
“तो तुम्हे क्या लगा मैं तुमसे प्यार करता हूँ , तुम्हे पहली बार देखते ही मैं समझ गया था की तुम इमोशनल फूल हो , लेकिन इंटेलिजेंट हो ! तुम्हे अपने प्यार के जाल में फ़साना कोई मुश्किल काम नहीं था मेरे लिए ! जब तुम्हारा जॉब प्रोफाइल तो पता चला की तुम तो मेरे काम की बंदी हो और फिर मैंने तुम्हे पटाना शुरू कर दिया ! मेरी किस्मत अच्छी थी की तुम बिना कुछ सोचे समझे मेरे साथ रिलेशनशिप में भी आ गयी और फिर मैंने तुमसे ये सब करवाया , आगे भी ये सब चलता रहता लेकिन तुम तो घरवालों से मिलने की जिद करने लगी ! तुमसे शादी तो दूर की बात है मैं तुम्हारे जैसी लड़कियों को मुंह तक नहीं लगाता !”,सचिन ने कड़वी बाते कह डाली जो सीधा रुचिका के सीने में जा धंसी ! वह बस अवाक् खड़ी सचिन को देखती रही ! चाँद पैसो के लिए उसने रुचिका के जज्बातो से खिलवाड़ किया ! रुचिका की आँखों में आंसू भर आये और उसने कहा,”मैंने तुमसे सच्चा प्यार किया था सचिन पर तुम तो मेरे प्यार के लायक ही नहीं थे , मुझे नहीं पता था तुम्हारे दिलो दिमाग में इतना लालच और गंदगी भरी हुई है !”
“रुचिका मुझे लेक्चर देने से अच्छा है अपना दिमाग अपनी नौकरी बचाने में लगाओ ! दो दिन है तुम्हारे पास कैसे प्रूव करोगी की तुम सही थी ? वैसे तुम चाहो तो मैं तुम्हारी मदद कर सकता हूँ !”,सचिन ने बेशर्मो की तरह रुचिका के गाल को अपनी ऊँगली से छूते हुए कहा
रुचिका ने उसका हाथ साइड किया और कहा,”नहीं सचिन ऑलरेडी तुम मेरी बहुत मदद कर चुके हो”
रुचिका ने अपनी आँखों के किनारे साफ किये और वहा से चली गयी ! नैना को एक मीटिंग के सिलसिले में ऑफिस से बाहर जाना था इसलिए वह रुचिका के वापस केबिन आने से पहले ही वहा से चली गयी !
रुचिका जैसे ही केबिन में आयी शीतल ने उसके पास आकर कहा,”ये सब क्या है रूचि ? क्या किया है तुमने ?”
रुचिका ने कोई जवाब नहीं दिया अपना बैग उठाया और वहा से चली गई ! ऑफिस से रुचिका सीधा घर आ गयी उसे बहुत बुरा लग रहा था ! सचिन पर भरोसा करके उसने अपनी जिंदगी की सबसे बड़ी गलती की थी , वह रो पड़ी और रोते रोते सो गयी ! शाम को शीतल और नैना घर आये उन दोनों के बिच तो बातें जैसे लगभग ख़त्म ही हो चुकी थी ! दोनों चुपचाप अंदर आयी नैना वाशरूम चली गयी और शीतल कमरे में आकर रुचिका को सम्हालने लगी ! रुचिका उठी उसकी आँखे सूज चुकी थी , शीतल के बार बार पूछने पर भी रुचिका ने कुछ नहीं बताया किस मुंह से बताती , उसका मजाक बनेगा सोचकर वह शीतल के सामने चुप बैठी थी ! शीतल उसके लिए कॉफी बनाने चली गयी नैना रुचिका से बात करना चाहती थी पर इन कुछ दिनों में तीनो के बिच एक दिवार सी बन चुकी थी और इस दिवार का गिरना बहुत जरुरी था ! शीतल राज से इतना ज्यादा प्यार करती थी की वह देखकर भी उसकी गलतियों को अनदेखा किये जा रही थी ! रुचिका ने सचिन से प्यार किया उस पर भरोसा किया उसमे रुचिका की कोई गलती नहीं थी , प्यार से वंचित इंसान को जब अचानक से कही से प्यार मिले तो वह कुछ सोचने समझने की स्तिथि में नहीं होता ! लेकिन नैना उन दोनों की बर्बाद होती जिंदगी नहीं देख सकती थी , नैना भी उनकी तरह एक लड़की थी लेकिन जिंदगी को लेकर उसका नजरिया उन लोगो से थोड़ा ज्यादा प्रेक्टिकल था ! रुचिका को इस हालत नैना को बिल्कुल अच्छा नहीं लग रहा था , बिना बात जाने वह कोई फैसला भी लेना नहीं चाहती थी ! शीतल ने रुचिका के लिए कॉफी बनायीं तो साथ में नैना के लिए चाय भी बना दी और उसे पकड़ाकर रुचिका के पास चली गयी ! नैना चाय लेकर बालकनी में आ गयी सेंकडो सवाल उसके दिमाग में आ जा रहे थे ! रुचिका और शीतल से बहुत कम दिनों में उसे लगाव हो गया था और शायद यही वजह थी की वह उन दोनों का दुःख महसूस करने लगी थी ! चाय पीते हुए उसकी नजर निचे सामने से आते अवि पर चली गयी ! ब्लेक शर्ट में अवि आज कुछ ज्यादा ही हेंडसम लग रहा था और पहली बार नैना ने उसे नोटिस किया था , कुछ देर बाद ही नैना ने अपनी नजरे घुमा ली और खुद से कहा,”ये क्या हो गया है तुझे ? तुझे ये सब पर ध्यान नहीं देना है पहले शीतल और रुचिका की जिंदगी को सही ट्रेक पर लाना है !”
नैना ने चाय खत्म की और निचे चली आयी ! प्लाजो और उस पर क्रॉप टॉप पहने वह निचे लॉन के पास बैठे सार्थक के पास आयी और बगल में बैठते हुए कहा,”बात आगे बढ़ी ?”
“नैना , अच्छा हुआ तुम आ गयी मुझे तुम्हे कुछ बताना था !”,सार्थक ने कहा
“हां बोलो !”,नैना ने कहा
“शीतल सच में राज से बहुत प्यार करती है , हमे उसकी फीलिंग्स को और हर्ट करना नहीं चाहिए !”,सार्थक ने निराश होकर कहा
“प्यार , अरे वो एक नंबर का हरामी है (थोड़ा तेज आवाज में कहती है तो आस पास के लोग उसे देखने लगते है , नैना आवाज धीरे करके आगे कहती है) तू उसे नहीं जानता , मेरा सिक्स सेंस कभी गलत नहीं हो सकता अगर राज सही बन्दा होता तो मैं खुद उसकी शादी शीतल से करवाती यार , और तुम ये आदर्शवादी बातें मत करो ! शीतल को हर्ट होना पडेगा , हर्ट होगी तभी तो उसे अहसास होगा अपनी गलती का ,,तुम्हे उस से प्यार है की नहीं ?”,नैना ने पूछा
“प्यार तो करता ही हूँ मैं उस से , लेकिन वो नहीं करती !”,सार्थक ने मायूस होकर कहा
“तो तू क्या चाहता है उसके और राज के बच्चे तुम्हे मामा मामा बुलाये , नहीं ना तो फिर बाबू कुछ कर”,नैना ने कहा तो सार्थक ने हैरानी से कहा,”बाबू ?”
“बाबू शोना वाला बाबू नहीं बे सिर्फ बाबू वाला बाबू , हमारे उधर छोटे भाइये को कहा जाता है !”,नैना ने कहा
नैना का जवाब सुनकर सार्थक खिंसिया कर दूसरी और देखने लगा नैना के जवाब से इतना तो वह जान गया की नैना की नजर में वह भाई जैसा है ! कुछ देर की ख़ामोशी के बाद सार्थक ने कहा,”इतना तो मैं जानता हूँ की शीतल के मन में भी मेरे लिए है लेकिन उन्हें प्यार में कैसे बदला जाये नहीं समझ आ रहा ?”
“अबे सारे फसाद की जड़ ये प्यार ही है , एक प्यार में अंधी हो चुकी है उसे सही गलत नहीं दिखता , दूसरी प्यार में गूंगी हो चुकी है कुछ पूछो तो बोलती नहीं है , साला इतना भसड़ आज तक नहीं देखा मैंने अपनी जिंदगी में”,नैना ने कहा
“और तुम्हे नहीं हुआ कभी प्यार ?”,सार्थक ने ऐसा सवाल पूछ लिया जिसके जवाब की उम्मीद उसे बहुत कम थी ! नैना उठी और कहा,”बेटा जिस गली जाना नहीं उसका रास्ता भी ना पूछो , तुम सबकी जिंदगी में ये प्यार का ग़दर कम है जो हमाई जिंदगी में भी चाहते हो ,, हम ऐसे ही ठीक है , खुश है !”
कहकर नैना वहा से चली गयी !
सार्थक को समझाकर नैना वहा से जाने लगी तो सामने खड़ी मिसेज गौर और मिसेज शर्मा मिल गयी ! नैना तो उन्हें इग्नोर करके जाना चाहती थी लेकिन मिसेज शर्मा ने उसे रोकते हुए कहा,”और नैना बेटे कैसी हो ?”
“ठीक हूँ आंटी !”,नैना को रूकना पड़ा
“आजकल सार्थक के साथ बड़ी बातें हो रही है तुम्हारी , घुल मिल गयी होंगी नई”,मिसेज शर्मा ने कहा तो नैना को गुस्सा आया लेकिन खामोश रही उसकी ख़ामोशी को उसका डर समझकर मिसेज शर्मा ने कहा,”अच्छी सुंदर दिखती हो , सार्थक तो यही देखकर फ़िदा हो गया होगा , वैसे भी तुम्हारे जैसी लड़कियों को कहा कमी होती है बॉयफ्रेंड्स की !”
इस बार नैना का गुस्सा नहीं रुका और उसने थोड़ा पास आकर मिसेज शर्मा की आँखों में देखते हुए कहा,”ओह्ह आंटी इतना ध्यान हमारे ऊपर लगाने के बजाय अपनी बेटी पर लगाया होता तो पता रहता की एक्स्ट्रा क्लास के नाम पर किस कॉफी शॉप में जाती है अपने बाबू शोना के साथ , आपका बेटा (शुभ) जिसमे ना अक्ल है ना शक्ल मेरे एक इशारे पर दौड़ते हुए आएगा ,, और आपके पति कभी चीनी कभी दूध कभी चायपत्ती के बहाने यहाँ वहा की बेल बजाते रहते है और आप कोनसा भली है आप भी तो मिस्टर गौर से रोज लिफ्ट लेकर अपने जॉब पर जाती है !”
नैना ने कहा तो मिसेज शर्मा का चेहरा सफ़ेद पड़ गया नैना ने तो उसके पुरे घर का कच्चा चिट्टा खोल दिया ! मिसेज गौर ने जब लिफ्ट वाली बात सुनी तो मिसेज शर्मा को घूरने लगी ! ये देखकर मिसेज शर्मा ने नजरे झुका ली ! नैना ने अपने दोनों हाथ बांधे और कहा,”मैं किसी से नहीं डरती हूँ आंटी , आप जैसे पडोसी और हरामी रिश्तेदारों के बिच ही बड़ी हुई हूँ ,, आपकी बेफिजूल बातो का कैसे जवाब देना होता है अच्छे से सीखा है मैंने , दोबारा ऊँगली की ना तो धोने के लिए हाथ नहीं बचेगा !” कहते हुए नैना मिसेज गौर की तरफ घूमी और कहा,”और क्या आंटी आप भी कितनी चौड़ में अपनी ही सौतन के साथ घूम रही है , मिस्टर गौर ने आपको तो कभी लिफ्ट नहीं दी !”
नैना की बात सुनते ही मिसेज गौर मुंह बनाकर वहा से चली गयी ! नैना भी जाने के लिए लिफ्ट के सामने आयी , लिफ्ट में आयी तो पीछे पीछे अवि भी चला आया वह शायद बाहर से आया उसके हाथ में कुछ सामान के बैग्स थे ! नैना को देखते ही उसका दिल फिर धक् धक् करने लगा लेकिन उसने अपने मन को शांत रखा और अपना सामान पकडे एक कोने में खड़ा रहा ! नैना चुपचाप खड़ी फ्लोर आने का इंतजार कर रही थी जैसे ही लिफ्ट रुकी नैना और अवि दोनों साथ आगे बढे और टकराने से सामान निचे जा गिरा , यहाँ कोई और होता तो अब तक नैना के मुंह से गाली निकल चुकी होती लेकिन उसने कुछ नहीं कहा और आकर अवि के साथ सामान उठाने लगी ! सामान उठाते हुए दोनों आमने सामने थे और दोनों का सर एक दूसरे से टकरा गया ! नैना सामान छोड़कर अपना सर सहलाने लगी ! अवि ने जल्दी जल्दी सामान बैग में भरा और उठा ! नैना भी उठी और जाने लगी तो अवि ने कहा,”थैंक्स !”
नैना ने कोई जवाब नहीं दिया और बेल बजा दी रुचिका ने दरवाजा खोला सामने अवि को देखा तो अवि मुस्कुरा दिया नैना ने पलटकर देखा और रुचिका को अंदर धकेलते हुए कहा,”अजीब बन्दा है यार !”
नैना ने दरवाजा बंद कर दिया और अंदर आ गयी ! शीतल खाना बना चुकी थी नैना ने अपना खाना लिया और खाकर रूम में चली आयी ! ऑफिस की किसी फाइल पर काम करना था उसे करते हुए अभी कुछ ही वक्त गुजरा था की उसे रुचिका के रोने की आवाज आयी ! नैना उठकर रूम से बाहर आयी तो देखा रुचिका फोन पर किसी से बात करते हुए रोये जा रही थी ! शीतल भी वही थी और रुचिका को समझा रही थी लेकिन रुचिका बात करते हुए कह रही थी,”प्लीज सचिन ऐसा क्यों कर रहे हो मेरे साथ ? प्लीज मुझे एक मौका दो !”
नैना ने जैसे ही सूना उस से बर्दास्त नहीं हुआ उसने रुचिका के हाथ से फोन लिया और एक गन्दी गाली देते हुए गुस्से से कहा,” फोन काट ####### !!”
नैना ने फोन सोफे पर फेंका और रुचिका से कहा,”क्या चल रहा है ये सब रूचि ? वो बंदा तुम्हे डिजर्व नहीं करता है ,, समझ में नहीं आता तुम्हे ? ऐसा क्या है उसमे जो उसके पीछे अपनी जिंदगी अपना करियर अपनी ख़ुशी सब दांव पर लगा रखी है तुमने” नैना ने गुस्से से कहा रुचिका को लेकर जो गुस्सा अब तक उसके अंदर था एकदम से फुट गया ! शीतल ने नैना को गुस्से में देखा तो कहा,”नैना ये क्या कर रही हो तुम ?”
“अबे यार ये क्या कर रही है ? उस घटिया इंसान के पीछे अपनी लाइफ ख़राब कर रही है ये !”,नैना ने उसी गुस्से से कहा तो रुचिका को भी टेश आ गया और उसने पूछा,”क्या कर रही हूँ मैं ?”
नैना ने अपने गुस्से को काबू में किया लेकिन सचिन को लेकर इतना था की उसने अपने दाँत पिसते हुए कहा,”वो काट रहा है तेरा और तू कटवा रही है !”
नैना की बात रुचिका को तीर की तरह चुभी तो उसने गुस्से से कहा,”हां तो मेरी लाइफ है , मैं जो चाहे करू तेरी जगह दो जगह तो मुंह नहीं मार रही ना मैं कभी अवि कभी सार्थक ! प्यार का मजाक बना रखा है तुमने , लेकिन सब तुम्हारे जैसे नहीं यही नैना”
नैना ने सूना तो उसका दिल टूट गया और उसने कहा,”सही कहा सब मेरे जैसे नहीं है , क्योकि मेरे जैसा बनने में तुम्हारी पूरी जिंदगी लग जाएगी तुम लोगो की ! एक काम करो तुम्हारे जो जी में आये करो !”
“नैना नैना , सुनो नैना”,शीतल ने नैना को रोकना चाहा लेकिन नैना वहा से वापस अपने रूम में चली गयी और दरवाजा बंद कर दिया ! तीनो दोस्तों के बिच की दिवार अब और बढ़ने लगी थी !!

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