Sanjana Kirodiwal

Category: Pakizah – Ak Napak Jindagi

पाकीजा – एक नापाक जिंदगी 50

Pakizah – 50 पाकीजा का खत पढ़कर रूद्र की आँखों से आंसू बहने लगे l खत में लिखा था “प्रिय रूद्र जी !!आज जो कुछ भी हुआ उसकी वजह सिर्फ और सिर्फ हम है l अगर हम आपकी जिंदगी में ना...

पाकीजा – एक नापाक जिंदगी 49

Pakizah – 49 Pakizah – 49 पाकीजा को साड़ी थमाकर भावना वहा से चली गयी l पाकीजा सीधी थी इसलिए उसने भावना की बात मान ली लेकिन भावना के मन में क्या चल रहा था ये सिर्फ भावना जानती थी l...

साक़ीनामा – 5

Sakinama – 5 Sakinama – 5 मैं अपना फोन लेकर छत पर चली आयी। मैंने फ़ोन उठाया तो दूसरी तरफ से राघव ने कहा,”हेलो !!”“जी कहिये”,मैंने कहा“क्या कर रही हो ?”,राघव ने बहुत ही अपनेपन से पूछा“कुछ नहीं बस अभी थोड़ी...

पाकीजा – एक नापाक जिंदगी 48

Pakizah – 48 Pakizah – 48 “आज पता चला सर , इस मुस्कराहट के पीछे कितना दर्द छुपा है !”,पाकीजा ने रूद्र की आँखों में देखते हुए कहा l रूद्र की आँखों में नमी तैर गयी वह पाकीजा को देखने लगा...

पाकीजा – एक नापाक जिंदगी 47

Pakizah – 47 Pakizah – 47 लिफ्ट निचे आकर रुकी l एक एक कर सभी बाहर जाने लगे l“पाकीजा !!”,रूद्र के मुंह से मुश्किल से एक शब्द निकलापाकीजा तेजी से रूद्र से दूर हुई l रूद्र उसे लेकर लिफ्ट से बाहर...
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