Meri Aakhari Mohabbat – 19
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Meri Aakhari Mohabbat – 19
पाखी – वो लोग और है जो चंद पैसो के लिए आपके सामने दुम हिलाते है , पर मैं उनमे से नहीं हु रही बात आपके बेटे की तो उसे बीवी की क्या जरुरत है आप जैसी माँ तो उसके पसंद का हर खिलौना खरीद सकती है
कहकर पाखी जैसे ही जाने लगी ताईजी ने उसकी बांह पकड़कर कहा – इतना गुरुर अच्छा नहीं है लड़की
पाखी – अगर आपको लगता है मुझमे गुरुर है तो फिर आपको ग़लतफ़हमी है मुझमे बहुत ज्यादा गुरुर है ,,
पाखी जाने लगी तो ताईजी ने कहा – किस्मतवाली हो जो मैंने तुम्हे चुना वरना एक तलाखशुदा लड़की को बहु बनाना तो दूर कोई अपने घर तक में ना रखे ..
ताईजी के शब्द सुनकर पाखी रुक गयी उसकी आँखो में नमी आ गयी ,,और फिर तेजी से कमरे में चली गयी
आकाशः – बस कीजिये ताईजी , ये हमारी मेहमान है
ताईजी – तो मैंने गलत क्या कहा एक तो ये तलाखशुदा ऊपर से इसके इतने नखरे … मैं पूछती हु क्या कमी है मेरे अमित में
आकाश – कमी अमित में नहीं आपमें है , आपकी सोच में है , आपके व्यवहार में है ………..
ताईजी – कल की आयी लड़की के लिए तू मुझसे जबान लड़ा रहा है ,,
शिव ने आकाश के कंधे पर हाथ रखा और ना में गर्दन हिला दी ,, आकाश अपने कमरे में चला गया और धीरे धीरे सब अपने कमरो में चले गए शिव अब भी वहा खड़ा पाखी के बारे में ही सोच रहा था उसके दिमाग में बस एक ही शब्द दौड़ रहा था “तलाकशुदा” आखिर ऐसा क्या हुआ था पाखी के साथ ,,
कोई उस से तलाक कैसे ले सकता है शिव उस कमरे की तरफ बढ़ गया जिसमें पाखी थी लेकिन दरवाजे पर जाकर रुक गया कमरे में आकाश , सपना आकाश की मम्मी और पाखी मौजूद थी पाखी रोये जा रही थी
शिव ने उसे पहली बार रोते देखा उसका दिल तो किया जाकर अभी अमित और उसकी माँ को अच्छे से सुना दे , लेकिन वो बेबस था
आकाश की माँ पाखी के पास बैठ गयी और प्यार से उसके सर पर हाथ फेरते हुए कहा – बस कर बेटा , बड़ी ताईजी की बातो को दिल पर मत लेना , उनकी जबान कड़वी है लेकिन उनका इरादा नहीं था की वो तुम्हे दुख पहुचाये
पाखी ने रोते हुए कहा – हम जानते है आंटी लेकिन हम तलाकशुदा है तो इसमें हमारा क्या कसूर … हमने किसी को छोड़ा सिर्फ अपना आत्मसम्मान बचाने के लिए ,, हमने कुछ गलत नहीं किया
– मैं जानती हु बेटा आपने कुछ गलत नहीं किया होगा ,, आप जैसी लड़की कभी किसी का बुरा सोच भी नहीं सकती ,, लोगो की बातो को इस तरह दिल पर लेकर अपना दिल मत दुखाओ ..
आकाश – पाखी ताईजी की तरफ से मैं तुमसे माफ़ी मांगता हु ,
पाखी – नहीं जीजू आप क्यों माफ़ी मांग रहे है , आपकी इसमें कोई गलती नहीं है
तो फिर मेरी प्यारी सी साली साहिबा अब और नहीं रोयेगी – आकाश ने पाखी के आंसू पोछते हुए कहा
सपना भी पाखी के पास आकर बैठ गयी
पाखी – आंटी अब हम यहा फिर कभी नहीं आएंगे
तभी आकाश के पापा ने कमरे में दाखिल होते हुए कहा – क्यों नहीं आओगी बेटा , ये घर भी तो आपका है और आप हमारी बेटी जैसी ही है
आकाश के पापा की बात सुनकर पाखी उनके गले लग गयी और कहा – हमे माफ़ कर दीजिये हमने आप सबके सामने इतने गुरुर में बात की ..
आकाश के पापा ने पाखी के सर पर प्यार से हाथ रखते हुए कहा – आकाश ने हमे बताया था की आप वकालत सिख रही है तो हमारी वकील साहिबा पर इतना गुरुर तो जचता है
पापा की बात सुनकर पाखी मुस्कुरा दी
सभी वही बैठ गए और बाते करने लगे ,, इस झमेले में आकाश शिव को तो भूल ही गया वो दौड़कर कमरे से बाहर गया उसने देखा शिव इधर इधर बैचैन सा चक्कर काट रहा है
आकाश ने जाकर शिव के कंधे पर हाथ रखा शिव आकाश को देखकर थोड़ा शांत हुआ और पूछा – अब वो कैसी है
आकाश – ठीक है , पापा से बाते कर रही है
शिव – ताईजी को उनसे इस तरह बात नहीं करनी चाहिए थी , उन्हें कितना बुरा लगा होगा
आकाश – हां यार मुझे भी बहुत गुस्स्सा आ रहा है , लेकिन अब सब ठीक है
शिव – आकाश ताईजी ने पाखी के लिए जो कुछ भी कहा …………………. शिव ने बात अधूरी छोड़ दी
आकाश – मैं जानता हु तू क्या जानना चाहता है ,, ताईजी ने जो कहा वो सच है सपना ने मुझे पाखी के बारे में सगाई के कुछ दिन बाद ही बता दिया था , पर उस से पूछकर मैं उसे दुखी नहीं करना चाहता था ,, शादी के बाद पाखी की जिंदगी बहुत उलझी हुयी थी और फिर उसने उस लड़के से तलाक ले लिया ,,
दो साल से न वो किसी से मिली न किसी से बात की घर में ही कैद रखा खुद को , सपना के कहने पर वो उसकी शादी में आयी थी और मेरे कहने पर यहा लेकिन आज मेरी वजह से ही ताईजी ने उसे इतना दुःख पहुंचा दिया
शिव – तुम्हारी कोई गलती नहीं है आकाश
आकाश – शिव मुझे पाखी से मिल सिर्फ दो दिन हुए है फिर भी ऐसा लगता है जैसे मैं उसे सालो से जानता हु सपना ने मुझ इतना कुछ बताया है उसके बारे में … वो पागल लड़की सबको खुश रखना चाहती है , कभी किसी को हर्ट करना या तकलीफ [पहुंचाना नहीं चाहती और इसलिए हर बार उसका दिल टूटता है
शिव – अब उसका दिल कभी नहीं टूटेगा … आज उसके बारे में जानने के बाद उसकी मेरी नजरो में इज्जत और दिल में जगह और भी ज्यादा बन चुकी है …
आकाश शिव को गले लगा लेता है
शिव – आकाश एक वादा कर मुझसे ?
आकाश – हां बोल
शिव – जब तक पाखी की जिंदगी में सब कुछ सही नहीं हो जाता उसे मेरे और मेरे काम काम के बारे में कुछ पता नहीं चलना चाहिए , सही वक्त आने पर मैं खुद उसे अपने बारे में सब सच बता दूंगा
आकाश – शिव तू मेरा दोस्त बाद में मेरा भाई पहले है तू जैसा चाहेगा वैसा ही होगा
शिव – तो फिर जाकर पैकिंग कर निकलना नहीं है क्या … बेचारी भाभी को आते आते इतना सब देखने को मिल गया चला जा अब भाभी के साथ मिलकर पैकिंग कर फिर चलते है सब ….. अच्छा सुन
आकाश – हां
शिव – उन्होंने कुछ खाया ?
आकाश – शायद नहीं
ठीक है मैं खिला दूंगा तू जा – कहकर शिव नाश्ते की प्लेट लेकर रूम में गया
पाखी अपना सामान पैक करने में लगी थी शिव ने नाश्ता रखा और पाखी से कहां – मैंने कही पढ़ा था रोने के बाद भूख ज्यादा लगती है
पाखी ने शिव की तरफ देखा और मुस्कुरा दी – माफ़ करना हमने सबके सामने इस तरह बात की
शिव – मुझे अच्छा लगा ये जानकर की आप एक स्वाभिमानी लड़की है , और गलत के खिलाफ जाने की हिम्मत रखती है
पाखी – हां लेकिन वो सब भी अपने ही थे ,,,,, खैर बैठिये
शिव सामने राखी कुर्सी पर बैठ जाता है पाखी नाश्ता करती हुयी उस से बातें करती जा रही की तभी खाना उसके
गले में उलझ गया वो खांसने लगी शिव ने पास रखा पानी का ग्लास उठाया और उसे पिलाते हुए उसके सर को सहलाने लगा
और कहां – इतना सब जानती है आप पर ये नहीं पता की खाते वक्त ज्यादा बात नहीं की जाती
पाखी – सॉरी , हम ठीक है
शिव – बाहर आपका इंतजार कर रहे है आप जल्दी आ जाना
कहकर कमरे से बाहर चला गया
थोड़ी देर बाद आकाश सपना और शिव अपना अपना बैग लिए तैयार खड़े थे तभी पाखी आ गए वाइट कलर का सूट पहने ,, बहुत अच्छी लग रही थी ,, आकाश के मम्मी पापा , ताईजी और रचना सभी बाहर ही खड़े थे
पाखी ने मम्मी पापा के पैर छुए और रचना को गले से लगा लिया … पाखी ने देखा ताईजी भी वही खड़ी थी पाखी उनके पास गयी और हाथ जोड़कर कहा – जाने अनजाने में हमने आपसे जो कुछ भी कहा उसके लिए हमे माफ़ कर दीजियेगा
ताईजी ने उसे गले लगा लिया और कहा – बेटा माफ़ी तो मुझे मांगनी चाहिए मैंने तुम्हारा दिल दुखाया …
पाखी ने ताईजी के आंसू पोछते हुए कहा – आप रोती हुई बिलकुल अच्छी नहीं लगती है गुस्सा ही सूट करता है आप पर
पाखी की बात सुनकर सब मुस्कुरा उठे
आकाश की मम्मी ने आकाश से कहां – बेटा रस्ते में साई मंदिर में दर्शन करते हुए जाना … और अपना और सपना का ख्याल रखना ….
सब गाड़ी में बैठ गए पाखी जब बैठने लगी तो आकाश के पापा ने कहा – पाखी बेटा ,, कभी समय मिले तो आती रहना ये भी आपका अपना ही घर है …
जी अंकल – पाखी ने मुस्कुरा कर कहा और गाड़ी में बैठ गयी … आकाश और सपना एक दूसरे से कुछ कह रहे थे तभी पाखी ने कहा – तोता मैना चोंच लड़ाना बंद करो
पाखी की बात सुनकर दोनों दूर हो गए शिव ने गाड़ी की रफ़्तार बढ़ा दी मौसम अच्छा था शिव ने म्यूजिक ऑन कर दिया
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